Amit Shah Statement: बिहार के दरभंगा में कांग्रेस नेता राहुल गांधी की वोटर अधिकार यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी स्वर्गीय माता के खिलाफ कथित अपमानजनक टिप्पणी पर राजनीतिक घमासान तेज हो गया है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने घटना की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए कहा कि यह देशवासियों की भावनाओं को ठेस पहुंचाने वाला कृत्य है और (Amit Shah Statement)राहुल गांधी को माफी मांगनी चाहिए।
दरभंगा में अभद्र टिप्पणी
राहुल गांधी की यात्रा के दौरान एक व्यक्ति द्वारा कथित रूप से पीएम मोदी और उनकी दिवंगत माता के खिलाफ अपमानजनक शब्द बोले गए। यह वीडियो/घटना सामने आने के बाद विरोध तेज हुआ और राजनीतिक प्रतिक्रियाएं आने लगीं।
“हरकत शर्मनाक, जनता जवाब देगी”
असम के दो दिवसीय दौरे पर गए गृह मंत्री अमित शाह ने गुवाहाटी में रैली को संबोधित करते हुए कहा कि कांग्रेस की यह हरकत शर्मनाक है और इससे भाजपा की जीत का रास्ता और मजबूत होगा। शाह के अनुसार, कांग्रेस के कई नेता बीते वर्षों में भी पीएम के लिए अनुचित शब्दों का इस्तेमाल करते रहे हैं।
“जितनी ज्यादा गालियां मोदी जी को दोगे, कमल का फूल उतना ही खिलकर ऊंचाइयों को छुएगा… हर चुनाव में कांग्रेस ने यही कोशिश की, लेकिन जीत भाजपा की हुई।” — अमित शाह
गृह मंत्री का आरोप — “अपशब्दों की लंबी सूची”
शाह ने आरोप लगाया कि विपक्ष के कुछ नेताओं ने अतीत में पीएम मोदी को “मौत का सौदागर”, “जहरीला सांप”, “नीच आदमी”, “रावण”, “भस्मासुर”, “वायरस” जैसे शब्दों से संबोधित किया। शाह ने इसे “राजनीतिक संवाद का पतन” करार दिया और संयमित भाषा की अपील की।
FIR व गिरफ्तारी — दरभंगा पुलिस की कार्रवाई
दरभंगा की घटना के बाद भाजपा नेताओं ने पटना गांधी मैदान थाने में एफआईआर दर्ज करने की मांग की। प्रवक्ता दानिश इकबाल और कृष्ण सिंह ने राहुल गांधी के खिलाफ शिकायत दी। इसके बाद कार्रवाई में तेजी आई और दरभंगा पुलिस ने कथित आरोपी रिज़वी उर्फ़ राजा को गुरुवार देर रात गिरफ्तार कर लिया। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, वह सिंहवाड़ा थाना क्षेत्र के भपुरा गांव का निवासी है और पिकअप ड्राइवर है।
परियोजनाओं का शुभारंभ
अमित शाह ने असम के राजभवन में नए ब्रह्मपुत्र विंग सहित कई परियोजनाओं का उद्घाटन किया। इसके पश्चात उन्होंने गुवाहाटी में जनसभा को संबोधित कर राजनीतिक मुद्दों पर अपनी बात रखी और विपक्ष को आड़े हाथों लिया।
कांग्रेस की ओर से इस घटना पर आधिकारिक प्रतिक्रिया आने की संभावना है। विपक्ष आमतौर पर ऐसे मामलों में “भाजपा का ध्यान भटकाने का प्रयास” बताता आया है, जबकि भाजपा अपमानजनक भाषा के इस्तेमाल पर सख्त रुख अपनाती रही है।
चुनावी नैरेटिव पर असर
- तकरार से चुनावी नैरेटिव में तीखापन बढ़ने की संभावना।
- भाषा और मर्यादा पर राष्ट्रीय बहस तेज हो सकती है।
- कानूनी कार्रवाई व सोशल मीडिया विमर्श के चलते मुद्दा सुर्खियों में बना रहेगा।