Heeralal Nagar Statement: ऊर्जा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) हीरालाल नागर ने पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि गहलोत अपने कार्यकाल की बड़ी गलतियों को भूल गए हैं। उन्होंने बताया कि गहलोत सरकार ने साढ़े चार साल जनता पर भारी करों का बोझ डाला और कई बार बिजली की दरें बढ़ाईं। 100 यूनिट मुफ्त बिजली देने के चुनावी निर्णय को लेकर नागर ने कहा कि ( Heeralal Nagar Statement)यह केवल वोटों की रेवड़ियों का हिस्सा था।उन्होंने तंज कसते हुए कहा, जब जमीन से जुड़ा एक व्यक्ति जनता की सेवा करता है तो इमारतें हिलती हैं और जमीन खिसकती है। जब कोई व्यक्ति एक अंगुली दूसरे पर करता है तो तीन अंगुली अपनी तरफ भी होती है।

कांग्रेस सरकार का जर्जर बिजली तंत्र

नागर ने बताया कि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार ने उन्हें जर्जर बिजली तंत्र विरासत में दिया। बिजली के उत्पादन, प्रसारण और वितरण में कोई सुधार नहीं किया गया। उन्होंने कहा कि महंगी दरों पर बिजली खरीदने और आर्थिक कुप्रबंधन के कारण राज्य के डिस्कॉम्स 88,700 करोड़ रुपए के ऋण के साथ दिवालिया होने के कगार पर थे। समय पर ऋण ना चुकाने के कारण 300 करोड़ रुपए की पेनल्टी भी लगी।

प्रदेश में बिजली आपूर्ति बनी बनी रही

नागर ने कहा कि कांग्रेस सरकार के समय सितंबर 2023 में रबी सीजन की बिजली की मांग पूरी करने के लिए अन्य राज्यों से बिजली लेने का करार हुआ था। इस कर्ज को हमारी सरकार ने चुकाया और प्रतिदिन 147 लाख यूनिट बिजली लौटाने के बावजूद प्रदेश में बिजली आपूर्ति में कमी नहीं आने दी।

भविष्य में ऊर्जा उत्पादन बढ़ाने पर जोर

ऊर्जा राज्य मंत्री ने कहा, हमारी सरकार भविष्य में प्रदेश की ऊर्जा आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए उत्पादन बढ़ाने और प्रसारण-डिस्ट्रिब्यूशन तंत्र को मजबूत करने पर काम कर रही है। उन्होंने यह भी बताया कि राजस्थान डिस्कॉम्स ने वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए लगभग सभी उपभोक्ताओं को उनकी श्रेणी अनुसार 35 पैसे से 80 पैसे प्रति यूनिट तक की राहत दी है। यह 25 वर्षों में पहली बार है कि एनर्जी चार्जेज में छूट दी गई है।