निजी स्कूलों की मनमानी जारी
प्रदेश में जयपुर सहित कई जिलों में निजी स्कूलों ने अवकाश की अनदेखी कर कक्षाएं संचालित की। इससे अभिभावकों और विद्यार्थियों में भारी रोष फैल गया है। माता-पिता का कहना है कि अवकाश के नियमों की अवहेलना छात्रों के हित और छुट्टियों के महत्व को नजरअंदाज करना है।
शिक्षा विभाग की चेतावनी और मौन
शिक्षा विभाग ने पहले ही स्पष्ट किया था कि आदेशों की अवहेलना करने वाले स्कूलों के खिलाफ गैर-सरकारी शिक्षण संस्थान अधिनियम 1989, 1993 और संशोधित अधिनियम 2011 के तहत कड़ी कार्रवाई की जाएगी। इसमें स्कूल की मान्यता रद्द करना, आर्थिक दंड और प्रशासनिक कार्रवाई जैसी धाराएं शामिल हैं। बावजूद इसके, कई स्कूल बेखौफ आदेशों की धज्जियां उड़ा रहे हैं और विभागीय अमला मौन है। अब अभिभावक मांग कर रहे हैं कि शिक्षा विभाग तुरंत निरीक्षण कर नियम तोड़ने वाले स्कूलों के खिलाफ उदाहरणात्मक कार्रवाई करे। उनका कहना है कि अगर समय पर कार्रवाई नहीं हुई, तो अन्य संस्थान भी सरकारी आदेशों को हल्के में लेंगे। अभिभावकों का यह भी कहना है कि नियमों की अवहेलना छात्रों के अधिकारों के खिलाफ है और इसे नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिए।