RSS workers attack: जयपुर के करणी विहार इलाके में आरएसएस कार्यकर्ताओं (RSS workers attack) पर चाकूबाजी के बाद जिला प्रशासन ने तत्काल कार्रवाई करते हुए आरोपी पिता-पुत्र के अवैध कब्जे वाले मकान को ध्वस्त कर दिया है। यह मकान मंदिर परिसर के अंदर बना हुआ था, जिसके कारण स्थानीय समुदाय में असंतोष फैल गया था। प्रशासन ने बुलडोजर के माध्यम से इस अवैध निर्माण को हटाकर स्पष्ट संदेश दिया है कि किसी भी प्रकार के अवैध कब्जे को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
आरएसएस कार्यकर्ताओं पर चाकूबाजी, आरोपी पिता-पुत्र गिरफ्तार
जयपुर के करणी विहार इलाके में शरद पूर्णिमा की रात एक मंदिर में जागरण और प्रसाद वितरण कार्यक्रम के दौरान चाकूबाजी की घटना ने हड़कंप मचा दिया। अतिरिक्त पुलिस आयुक्त कुंवर राष्ट्रदीप के अनुसार, नसीब चौधरी और उसके बेटे भीष्म ने कार्यक्रम में व्यवधान डालते हुए कुछ लोगों पर चाकू से हमला किया। पुलिस ने दोनों को गिरफ्तार कर लिया है और सीसीटीवी फुटेज के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।
घटना का विवरण
गुरुवार रात 9:45 बजे रजनी विहार कॉलोनी में हुई इस घटना के दौरान आरएसएस कार्यकर्ता एकत्रित थे। नसीब चौधरी ने अपने परिवार के साथ मिलकर खीर वितरण कार्यक्रम में बाधा डालने की कोशिश की, जिससे विवाद बढ़ गया और झगड़ा हिंसक रूप ले लिया। इस झड़प में आठ लोग घायल हुए, जिनमें से कई को गंभीर चोटें आई हैं।
राजनीतिक प्रतिक्रिया और सुरक्षा व्यवस्था
पूर्व मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास समेत कई नेताओं ने घायलों से एसएमएस अस्पताल में मुलाकात की और घटना पर गहरा दुख व्यक्त किया। उन्होंने राज्य की कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की। घटना के बाद इलाके में तनाव व्याप्त हो गया, जिसके चलते सुरक्षा व्यवस्था को कड़ा किया गया।
आरोपी का आपराधिक इतिहास
मुख्य आरोपी नसीब सिंह चौधरी, जिसे नसीब पहलवान के नाम से भी जाना जाता है, का आपराधिक इतिहास रहा है। वह 2002 में हत्या के मामले में जेल जा चुका है और उसके खिलाफ कई आपराधिक मामले दर्ज हैं। पुलिस अब विभिन्न थानों से उसके रिकॉर्ड को एकत्र कर रही है।
समर्थन रैली
इस हिंसक घटना के बाद आरएसएस कार्यकर्ताओं की सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ गई है। शुक्रवार शाम को मंदिर में हनुमान चालीसा का पाठ करने के लिए लोगों ने एक समर्थन रैली निकाली, जिसमें केंद्रीय मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौड़ भी शामिल हुए। इस रैली के माध्यम से आरएसएस कार्यकर्ताओं ने एकजुटता दिखाई और हमले की कड़ी निंदा की।